आमतौर पर बर्फ का पानी और गर्म कॉफी चाय पीने पर ये ठंडे और गर्म पेय पदार्थ दांतों में बहुत तेजी से लगते हैं जो असहनशील हो जाते हैं, इसे ही दांतों की सेंसिटिविटी या दांतों में ठंडा गर्म लगने की समस्या कहा जाता है। ऐसी स्थिति में दांतों की विशेष देखभाल की जरूरत पड़ती है और कोई भी खाद्य पदार्थ बहुत सावधानी से खाना पड़ता है। वास्तव में दांतों में सेंसिटिविटी की समस्या किसी भी उम्र में किसी भी व्यक्ति को हो सकती है, यदि वह अपने दांतों के प्रति बहुत लापरवाही बरतता हो तो। इसलिए दांतों की सेंसिटिविटी से बचने के लिए दांतों की साफ-सफाई पर अधिक ध्यान देने की जरूरत होती है।
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दांतों में सेंसिटिविटी क्यों होती है
दांतों में ठंडा गर्म लगने या सेंसिटिविटी की समस्या तभी होती है जब दांतों के अंदर पाये जाने वाला डेंटिन, इनेमल के सुरक्षा कवच को खो देता है या दांतों की बाहरी परत सिमेंटम का क्षय हो जाता है। जिसके कारण दांतों में ठंडा, गर्म और अम्लीय भोजन खाने पर सेंसिटिवटी की समस्या होती है। आमतौर पर दांतों में ठंडा गर्म लगने की समस्या निम्न कारणों से होती है।
- बहुत कठोर ब्रश से दांतों को साफ करने से दांतों का इनेमल क्षतिग्रस्त हो जाता है जिसके कारण दांतों में सेंसिटिविटी होने लगती है।
- अत्यधिक अम्लीय भोजन और पेय पदार्थों का सेवन करने के कारण भी दांतों में ठंडा गर्म लगने की समस्या हो जाती है।
- दांतों में मसाला भरवाने के कारण भी एक समय के बाद सेंसिटिविटी की समस्या हो जाती है।
- दांतों के बीच से या आधा टूटने के कारण, मसूढ़ों का दांतों से पीछे की ओर खिसकने के कारण भी दांतों में ठंडा गर्म लगता है।
- रात में सोते समय दांत किटकिटाने या पीसने, दांतों को मशीन से साफ करवाने और दांतों को सफेद करवाने के कारण भी दांतों में ठंडा गर्म लगने लगता है।
दांतों में सेंसिटिविटी (झनझनाहट) के लक्षण
- दांतों में बहुत तेजी से ठंडा, गर्म और अम्लीय भोजन लगता है जिसके कारण दांतों और कानों में तेज दर्द उठता है।
- सांस लेते समय या ठंडी हवा चलने पर दांतों में बहुत तेजी से सनसनाहट होती है।
- मसूढ़े दांतों से खिसकर थोडे़ पीछे चले जाते हैं।
- मसूढ़ों में लालिमा और सूजन आ जाती है।
दांतों में ठंडा गरम लगे तो अपनाएं ये घरेलू उपचार
ऑयल पुलिंग
नारियल की तेल की कुछ बूंदें मुंह में लेकर 15 से 20 मिनट तक तेल को मुंह के अंदर ही रहने दें। इसके बाद तेल को थूक कर ब्रश करके दांतों को साफ कर लें। नियमित रूप से यह क्रिया करें और यदि संभव हो तो प्रत्येक सुबह ऑयल पुलिंग करें। नारियल के तेल में एनलजेसिक और एंटी इंफ्लैमेटरी गुण पाया जाता है जिसके कारण यह दांतों के प्लाक और गंदगी को दूर कर सेंसिटिविटी की समस्या से राहत दिलाने में मदद करता है।
लौंग
दांतों में ठंडा गरम लगने या सेंसिटिविटी की समस्या को दूर करने में लौंग बहुत फायदेमंद होता है। लौंग में एंटी इंफ्लैमेटरी, एंटीऑक्सीडेंट और एनेस्थेटिक गुण पाया जाता है जो दांतों में संक्रमण को दूर करता है जिसके कारण ठंडा गर्म लगना बंद हो जाता है। लौंग को पीसकर इसमें थोड़ा सा ऑलिव ऑयल मिलाएं और दांतों पर मालिश करें या सिर्फ प्रभावित जगह पर लगाएं। दांतों की सेंसिटिवटी दूर हो जाएगी।
शहद और गर्म पानी
शहद एक जीवाणुरोधी एजेंट है, जिसका उपयोग घाव प्रबंधन के लिए इस्तेमाल किया जा सकता है। शहद उपचार को तेज करने में मदद कर सकती है, और दर्द, सूजन, और सेंसिटिविटी को कम कर सकती है।
संवेदनशील दांतों से दर्द को कम करने के लिए, अपने मुंह में गर्म पानी और शहद का एक चम्मच लेकर कुल्ला करें। यह कुल्ला मौखिक उपचार को बढ़ावा देगा और दांतों में झनझनाहट दूर करने में आपकी मदद करेगा।
नमक का पानी
नमक प्राकृतिक रूप से एंटीसेप्टिक गुणों से युक्त होता है जिसके कारण यह मुंह के अंदर मसूढ़ों में सूजन को दूर कर ठंडा गर्म लगने की समस्या से निजात दिलाने में मदद करता है। एक गिलास गुनगुने पानी में आधा चम्मच नमक मिलाएं और इस विलयन को मुंह में लेकर थोड़ी देर तक हिलाते या कुल्ला करते रहें। रोजाना यह क्रिया करने से दांतों की सेंसिटिविटी खत्म हो जाती है।
दही
दही में कई तरह के पोषक तत्व पाये जाते हैं जो दांतों के इनेमल को घिसने से बचाते हैं जिसके कारण दांतों में सेंसिटिविटी की समस्या नहीं होती है। यदि आपको दांतों में ठंडा गर्म लगने की समस्या हो तो पर्याप्त मात्रा में दही खाएं। कुछ ही देर में दांतों की सेंसिटिविटी शांत हो जाएगी।
हल्दी
खाना पकाने के अलावा, हल्दी को एंटी-इन्फ्लामेंट्री उपचार के रूप में इस्तेमाल किया जा सकता है। हल्दी में एक यौगिक होता है जिसे कर्क्यूमिन (curcumin) कहा जाता है जिसे इसके एंटी-इन्फ्लामेंट्री प्रभावों के लिए जाना जाता है। इसका उपयोग आयुर्वेदिक उपचार में, पाचन से जुड़े रोगों के उपचार में और घाव चिकित्सा के लिए एजेंट के रूप में किया गया है। मौखिक स्वास्थ्य के लिए और संवेदनशील दांतों के दर्द को कम करने के लिए, आप दांतों पर हल्दी से मालिश कर सकते हैं।
इसके लिए आप 1 चम्मच हल्दी, ½ छोटा चम्मच नमक, और ½ छोटा चम्मच सरसों का तेल से सामयिक पेस्ट बना सकते है। इस पेस्ट को दांतों और मसूड़ों को दर्द से राहत पाने के लिए दिन में दो बार उपयोग करें।
लहसुन
लहसुन के पेस्ट में थोड़ा सा पानी और चुटकी भर नमक मिलाएं और दांतों के प्रभावित हिस्से पर यह मिश्रण लगाकर 10 से 15 मिनट के लिए छोड़ दें और फिर पानी से दांतों को साफ कर लें। दांतों की सेंसिटिविटी को दूर करने का यह सर्वोत्तम आयुर्वेदिक उपचार है। लहसुन में एंटी माइक्रोबियल गुण पाया जाता है जो दांतों को क्षय से बचाता है और मुंह के रोगाणुओं से लड़ने में सहायक होता है।
प्याज
प्याज में एंटीमाइक्रोबियल और एंटी इंफ्लैमेटरी गुण पाया जाता है जो दांतों में रोग उत्पन्न करने वाले बैक्टीरिया से लड़ने में मदद करता है और दांतों के सूजन और दर्द को भी कम करता है। यदि आप दांतों में ठंडा गर्म लगने (सेंसिटिविटी) की समस्या से परेशान हैं तो प्याज के एक टुकड़े को कुछ मिनट तक चबाने से यह समस्या दूर हो सकती है। इसके अलावा प्याज से रस को प्रभावित स्थान पर लगाने से बी सेंसिटिविटी कम हो जाती है।
अमरूद की पत्तिया
दांतों में ठंडा गर्म लगने की समस्या होने पर अमरूद की पत्तियों से भी इसका उपचार किया जा सकता है। अमरूद की पत्तियों में क्वेरसेटिन (quercetin) और रूटिन (rutin) नामक फ्लेनॉयड पाये जाते हैं और अमरूद की पत्तियां एंटी इंफ्लैमेटरी गुणों से युक्त होने के कारण दांतों में ठंडा गर्म लगने की समस्या को दूर करने में सहायक होती हैं। अमरूद की ताजी पत्तियों को धोकर उन्हें कुछ मिनट तक अच्छी तरह से चबाएं और इसके बाद थूक दें। दिन में नियमित दो से तीन बार यह क्रिया दोहराएं, दांतों की सेंसिटिविटी दूर हो जाएगी।
सेंसिटिविटी से बचने के उपाय
- दांतों में सेंसिटिविटी की समस्या से बचने के लिए मुलायम ब्रश से दांतों को साफ करें।
- रोज दांतों को हल्के हाथों से और धीरे-धीरे ब्रश करें।
- दांतों को किटकिटाएं या पीसे नहीं।
- अम्लीय पेय पदार्थ या भोजन से परहेज करें।
- दांतों की साफ सफाई पर विशेष ध्यान दें।
- दंत चिकित्सक से समय समय पर डेंटल चेकअप कराते रहें।
- आइसक्रीमस, सोडा, हॉट कॉफी, खट्टे फल और कैंडी खाने से बचें।
मौखिक दर्द और दांत संवेदनशीलता के इलाज के लिए आप कई घरेलू उपचार का इस्तेमाल कर सकते हैं। हालांकि, मौखिक दर्द के स्थायी समाधान की सिफारिश की जाती है। घरेलू उपचार अस्थायी रूप से दर्द को कम कर सकते हैं, लेकिन कई बार आपकी असुविधा के मुख्य कारण को ठीक नहीं कर पाते हैं। यदि आपके लक्षण कुछ दिनों के बाद बने रहते हैं, तो आपको अतिरिक्त उपचार की आवश्यकता हो सकती है। इसके लिए आप अपने दंत चिकित्सक से अन्य विकल्पों पर चर्चा करें।
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