महिलाएं अपनी प्रजनन क्षमता में सुधार कैसे करें

 

 

जब कोई महिला गर्भवती होती है तो उसे पहले अपनी प्रजनन क्षमता के बारे में जरूर सोचना चाहिए। महिलाएं गर्भवती होने के लिए सभी तरह की कोशिश करती हैं। लेकिन उन्हें यह याद रखना चाहिए कि गर्भवती होने में थोड़ा समय लग सकता है।

 

आपको बता दें की एक स्वस्थ महिला को गर्भवती होने का केवल 20 प्रतिशत मौका मिलता है। लेकिन उन्हें इसके लिए कुछ महीने या उससे अधिक समय लगना एक सामान्य बात है। ऐसी बहुत सी महिलाएं हैं जो अपनी प्रजनन क्षमता में सुधार करने के लिए विभिन्न तरह के उपाय और दवाएं खाती है, लेकिन उन्हें इससे कोई फायदा नहीं होता है, जिसके बाद वह अपने डॉक्टर से सलाह लेती हैं और लेना भी जरुरी है।

 

जो महिलाएं पूरी तरह से स्वस्थ हैं, उन्हें इस तरह की चिंता करने की जरुरत नहीं है। गर्भवती होने से पहले तो महिलाओं को अपना इतना ध्यान नहीं रखना पड़ता है जितना की गर्भवती होने के दौरान रखना पड़ता है। कम प्रजनन क्षमता कई बार उन महिलाओं में देखी जाती हैं जिनका वजन ज्यादा होता है। इसलिए महिलाओं को अपना वजन भी नियंत्रण में रखना चाहिए।

 

 

 

प्रजनन क्षमता को बढ़ाने के तरीके

 

 

पूरी तरह आराम करें

 

जो महिलाएं अपनी प्रजनन क्षमता बढ़ाना चाहती हैं, उन्हें अपने शरीर को ज्यादा समय आराम को देना होगा। इससे उनका तनाव दूर होगा किसी भी तरह के काम को लेकर तनाव ना लें, क्योंकि इसकी वजह से महिलाओं की प्रजनन क्षमता पर बहुत बुरा प्रभाव पड़ता है। जबकि हम  पुरुषों की बात करें तो यह उनके शुक्राणु के उत्पादन को कम करता है।

 

 

 

एंटीऑक्सीडेंट से भरपूर खाना खाएं

 

फोलेट और जस्ता जैसे एंटीऑक्सिडेंट पुरुषों और महिलाओं दोनों की प्रजनन क्षमता में सुधार कर सकते हैं। दरअसल एंटीऑक्सिडेंट आपके शरीर को ताजगी प्रदान करता हैं ये आपके शरीर से उन चीजों को हटाता है जो आपकी प्रजनन क्षमता को कम करते हैं।

 

युवा और वयस्क पुरुषों पर हुए एक अध्ययन में ये पता चला है कि जो लोग प्रति दिन 75 ग्राम एंटीऑक्सीडेंट से भरपूर चीजों का सेवन करते हैं उनके शुक्राणु की स्थति में सुधार होता है। इसके लिए आपको फल, सब्जियां, नट और अनाज जैसे खाद्य पदार्थ जिनमें विटामिन सी और ई, फोलेट, बीटा-कैरोटीन और ल्यूटिन जैसे लाभकारी एंटीऑक्सिडेंट से भरपूर चीजों का सेवन करना चाहिए।

 

 

 

वजन कम करें

 

इस पर हुए एक शोध से पता चलता है कि मोटापा पुरुष समेत महिलाओं की प्रजनन क्षमता को कई तरह से प्रभावित करता है। जैसे की उनका अधिक वजन हार्मोन में परिवर्तन का एक कारण बन सकता है, जो प्रजनन क्षमता को कम करता है। यह कम शुक्राणुओं की संख्या और शुक्राणु से भी जुड़ा हुआ है इसकी वजह से आपके शरीर में शुक्राणु जल्दी से नहीं बनते हैं।

 

 

 

सुबह का नाश्ता ज्यादा करें

 

पर्याप्त नाश्ता खाने से महिलाओं को प्रजनन से जुड़ी समस्याएं नहीं होती हैं, बल्कि इससे उनकी प्रजनन क्षमता में सुधार होता है। एक अध्ययन में ये पाया गया कि एक ज्यादा मात्रा में किया गया नाश्ते से पॉलीसिस्टिक ओवरी सिंड्रोम (polycystic ovary syndrome) के हार्मोन्स में सुधार हो सकता है, इससे बांझपन का खतरा भी कम होता है।

 

पीसीओ के साथ सामान्य वजन वाली महिलाओं के लिए, नाश्ते में उनकी अधिकांश कैलोरी खाने से इंसुलिन का स्तर 8% और टेस्टोस्टेरोन का स्तर 50% तक बढ़ जाता है। लेकिन जो महिलाएँ ऐसा नहीं करती हैं उनमें बांझपन का स्तर ज्यादा देखने को मिलता है।

 

इसके अलावा, उन महिलाओं की तुलना में 30% अधिक ओव्यूलेट किया, जिन्होंने अपना सुबह का नाश्ता कम मात्रा में किया और रात के वक़्त ज्यादा खाना खाया, उनकी प्रजनन क्षमता में कमी देखी गई।

 

 

 

धूम्रपान ना करें

 

जो पुरुष धूम्रपान करते हैं उनके नपुंसक होने की संभावना 50% अधिक होती है और धीरे धीरे उनके शुक्राणुओं की संख्या कम भी  होने लगती हैं। जो महिलाएं धूम्रपान करती हैं उनकी प्रजनन क्षमता आम महिलाओं की तुलना में 30% तक कम हो जाती है। जो लोग धूम्रपान करते हैं उन्हें और भी कई स्वास्थ्य से जुड़ी समस्या होती हैं। गर्भवती होने के दौरान जो महिलाएं ऐसा करती हैं उनके होने वाले बच्चे का भी स्वस्थ खराब हो सकता है।

 

 

 

अधिक उम्र

 

जो महिलाएं गर्भवती होना चाहती हैं उन्हें एक उम्र के बाद प्रजनन क्षमता से जुड़ी समस्या ज्यादा होती है। यदि आप गर्भवती होना चाहती हैं, तो 30 साल की उम्र से पहले उन्हें गर्भवती हो जाना चाहिए। उम्र बढ़ने के साथ-साथ महिलाओं को स्वास्थ्य से जुड़ी कई समस्या होती हैं, जैसे डायबिटीज और हार्मोन्स में बदलाव होने की संभावना ज्यादा होती है।

 

 

 

कम मात्रा में कार्ब्स का सेवन करें

 

पॉलीसिस्टिक ओवरी सिंड्रोम (पीसीओएस) से पीड़ित महिलाओं के लिए आमतौर पर लो-कार्ब वाले आहार का सेवन करने की सलाह दी जाती है। कम कार्ब वाले आहार आपके वजन नियंत्रण में बनाए रखते हैं। ये इंसुलिन के स्तर को कम कर सकता है। इस पर हुए एक अध्ययन में ये पाया गया कि जैसे-जैसे महिलाओं ने कार्ब का सेवन बढ़ाया है। उनमें  बांझपन का खतरा भी बढ़ा है।

अध्ययन में, अधिक कार्ब्स खाने वाली महिलाओं के मुकाबले कम-कार्ब का सेवन करने वाली महिलाओं में बांझपन का खतरा  78% तक कम होता है।

 

 

 

अधिक फाइबर खाएं

 

फाइबर आपके शरीर को अतिरिक्त हार्मोन से छुटकारा पाने में मदद करता है और रक्त शर्करा को संतुलित बनाए रखता है। उच्च फाइबर वाले खाद्य पदार्थों के कुछ उदाहरण जैसे साबुत अनाज, फल, सब्जियां और बीन्स हैं। कुछ प्रकार के फाइबर आंतों पर से अतिरिक्त एस्ट्रोजन को हटाने में मदद कर सकते हैं।

 

 

अतिरिक्त एस्ट्रोजन को शरीर से अपशिष्ट उत्पाद के रूप में हटा दिया जाता है। एक अध्ययन में पाया गया कि प्रति दिन 10 ग्राम अधिक अनाज फाइबर खाने से 32 वर्ष से अधिक उम्र की महिलाओं में डिंबग्रंथि बांझपन का खतरा 44% तक कम होता है।

 

 

यदि आप गर्भवती होना चाहती हैं, तो उससे पहले आप एक बार अपने डॉक्टर से सलाह जरूर लें, क्योंकि इससे पहले आपको अपनी प्रजनन क्षमता के बारे में पता होना चाहिए। वैसे आप इन तरीको को करके भी अपनी प्रजनन क्षमता को बढ़ा सकते हैं। यदि इसके अलावा आप इससे जुड़ी कुछ बातें या सवाल पूछना चाहते हैं तो आप हमारे डॉक्टर से संपर्क कर सकते हैं

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