ब्लैक फंगस (म्यूकोर्माइकोसिस) क्या है? जाने इसके कारण, लक्षण और इलाज

 

जैसा की आप सब जानते है कि एक तरफ कोरोना के मामले पूरे देश में तेजी से बढ़ रहे हैं वहीं एक्सपर्ट्स का कहना है कि तीसरी लहर कभी भी दस्तक दे सकती है। ऐसे में स्थिति इससे भी ज्यादा खराब हो सकती है। देश के अलग-अलग राज्यों के अस्पतालों से रहस्यमयी संक्रमण की घटनाएं देखने को मिल रही हैं। जिसमें सबसे पहले नाम आया है ब्लैक फंगस।

 

इसे ब्लैक फंगस बताया जा रहा है। इस संक्रमण के चलते कोविड मरीजों की हालत खराब होती जा रही है। मेडिकल भाषा में इसे माइक्रोमायोसिस (Mucormycosis) कहते हैं। भारत में अब तक ब्लैक फंगस के कई मामले सामने आ चुके हैं। आइए इस फंगल इंफेक्शन के बारे में विस्तार से बताते हैं।

 

 

ब्लैक फंगस (म्यूकोर्माइकोसिस) क्या है?

 

ब्लैक फंगस एक दुर्लभ और गंभीर संक्रमण है जो म्यूकोर्मिकोसिस के नाम से भी जाना जाता है और यह फंगस के एक समूह के कारण होता है। आपको बता दें की यह संक्रमण वातावरण में मौजूद रोगजनकों के खिलाफ लड़ने की शरीर की प्रतिरोधक क्षमता को कम कर देता है। हालांकि कोरोनावायरस की शुरूआत हमारी प्रतिरक्षा प्रणाली को कमजोर कर रही है, फंगस अब मानव शरीर को घातक परिणामों के साथ संक्रमित कर सकता है। यह अब आमतौर पर अनियंत्रित मधुमेह और आईसीयू में लंबे समय तक रहने वाले कोविड-संक्रमित रोगियों में देखा जाता है।

 

 

ब्लैक फंगस (म्यूकोर्माइकोसिस) के लक्षण

 

 

  • आंखों में लालपन या दर्द होना

 

  • बुखार

 

 

 

  • सांस लेने में तकलीफ होना

 

 

  • उल्टी में खून आना या मानसिक स्थिति में बदलाव ब्लैक फंगस के लक्षण हो सकते हैं।

 

 

ब्लैक फंगस (म्यूकोर्माइकोसिस) के कारण और किन लोगों को है ज्यादा खतरा

 

 

 

 

  • स्टेरॉयड्स से प्रतिरक्षा दमन

 

  • वैरिकोनाजोल थेरैपी

 

  • लंबे समय तक आईसीयू में रहने वाले लोगों में फंगल संक्रमण की आशंका अधिक होती है।

 

 

क्या इससे आपकी आंखों प्रभावित हो सकती है?

 

दरअसल हाल ही में भारत के अलग-अलग राज्यों में कोविड मरीजों में ब्लैक फंगस के कई मामले सामने आए हैं। ऐसे में इससे पीड़ित होने वाले लोगों ने ऐसा कभी नहीं सोचा होगा की उनके साथ कभी ऐसा भी होगा। ब्लैक फंगस का इलाज सही समय पर अगर नहीं हुआ तो उनकी आंखों की रौशनी तक जा सकती है।

डॉक्टरों के मुताबिक ये संक्रमण हवा के जरिए इंसान के शरीर में फैल रहा है। अगर उपचार न किया जाए तो ये कभी-कभी उपचार के बावजूद, संक्रमण नथुने (nostril) से उस हिस्से में फैलने लगता है जो आंखों और मस्तिष्क के आस-पास होती है।

 

 

ब्लैक फंगस (म्यूकोर्माइकोसिस) का इलाज ?

 

इसका इलाज समय पर शुरू होना चाहिए। डॉक्टरों की मानें तो इससे बचाव के लिए कोई घरेलू उपाय करने की जरूरत नहीं है। लेकिन आपको तुरंत डॉक्टर से सलाह लेने की जरूरत है। इसका खतरा उन्हें है जो स्टेरॉयड का लंबे समय तक सेवन भी फंगल इंफेक्शन का एक प्रमुख कारण है।

इसके उपचार में दवा और सर्जरी का संयोजन शामिल है। पहले चरण में वायरस को मारने के लिए कुछ एंटीफंगल दवाओं का उपयोग किया जा सकता है। इस मामले में, सही उपचार तय करने के लिए जल्द से जल्द डॉक्टर से संपर्क करने की सलाह दी जाती है।

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