डीप वेन थ्रोम्बोसिस का इलाज और इसके लिए बेस्ट हॉस्पिटल।

डीप वेन थ्रोम्बोसिस को आम भाषा में (डीवीटी) कहा जाता है। यह एक गंभीर बीमरी है जिससे डीप वेन थ्रोम्बोसिस के मरीज को उसकी अंदरूनी नसों मैं खून के थक्के मतलब ब्लड क्लॉट बन जाते है। ब्लड क्लॉट बनने की वजह से खून बहने से ठोस स्थिति मैं बदल जाता है। जो नसों मैं खून जमाना शुरू कर देता है। डीप वेन थ्रोम्बोसिस शरीर के किसी भी अंग मैं हो सकता है लेकिन ज्यादातर डीप वेन थ्रोम्बोसिस शरीर के निचले हिस्से जैसे जांघ या पैरो मैं होता है। और तो और यह लिवर, किडनी, हाथ, और मस्तिष्क मैं भी फेल सकता है। इस बीमारी का इलाज समय पर न करवाया जाए या इसके लक्षणों को नजरअंदाज कर देने से मरीज के लिए जान लेवा हो सकता है।

 

 

 

डीप वेन थ्रोम्बोसिस (डीवीटी) होने के लक्षण

 

 

डीप वेन थ्रोम्बोसिस ( डीवीटी ) के निम्न लक्षण शामिल है –

 

  • नसों के ऊपर गर्माहट महसूस होना और छूने पर दर्द होना।

 

  • स्किन का लाल हो जाना।

 

  • रोगी के प्रभावित पैरो मैं दर्द होना।

 

  • अचानक पैरो मैं सूजन आना।

 

  • खड़े होने या चलने मैं दर्द की वजह से परेशानी होना।

 

  • फूली हुए नसे दिखना।

 

डीवीटी बीमारी मैं पैर और हाथ मैं गंदे खून के साथ-साथ शरीर का पानी और खनिज जैसे जरुरी पदार्थ भी जमना शुरू हो जाते है। जिससे शरीर के अंदरूनी अंग गंभीर होने लगते है। जिससे डीवीटी वाले रोगी की स्थिति जानलेवा हो सकती है। पैर और हाथ के हिस्सों मैं गंदे खून, पानी और जरुरी पदार्थो के जमा होने से रोगी की समस्यां बढ़ने लगती है। जिससे शुद्ध खून ले जाने वाली रक्त धमनियाँ बंद हो जाती है और धमनियों मैं भी खून का बहाव रुकने लगता है।

 

 

 

डीप वेन थ्रोम्बोसिस होने के कारण

 

 

डीप वेन थ्रोम्बोसिस कई कारणो की वजह से हो सकता है इसके निम्न कारण है –

 

ज्यादा समय तक बैठना

जब आप ज्यादा देर तक बैठे रहते है तो उसे आपके पैरो मैं मासपेशियां ढीली होने लगती है। जिससे आपके शरीर मैं खून का बहाव बनना बंद हो जाता है जिससे आपकी समस्या और अधिक बढ़ सकती है।

 

 

आराम करना

ज्यादा देर तक आराम करने से आपको डीप वेन थ्रोम्बोसिस की समस्या भी बन सकती है। जैसे लम्बे समय तक आप बेड रेस्ट पर चले गए है बेड रेस्ट से मतलव है आपके चोट लग जाना जिससे आपको डॉक्टर ने एडमिट कर लिया है तो ज्यादा दिनों तक लगातार रेस्ट करने से आपकी मासपेशियां स्थिर रहती है जिससे आपको डीप वेन थ्रोम्बोसिस की समस्या बढ़ सकती है।

 

गर्भावस्था

गर्भ मैं बच्चे के कारण आपके पैर सुन हो जाते है जिस से आपके पैरो की नसों पर दवाब पड़ता है। इसके बाद बच्चे को जन्म देने के 6 हफ्ते बाद तक थक्का बने रहने की संभावना बनी रहती है।

 

नस में चोट लगना

यह टूटी हुई हड्डी, सर्जरी, या कोई और तरह की गंभीर चोट लगने के परिणामस्वरूप हो सकता है।

 

किसी बीमारी के कारण

फेफड़े आंतों में कैंसर या किसी और बीमारी के कारण खून का ज्यादा गाढ़ा हो जाने पर डीप वेन थ्रोम्बोसिस रोग हो सकता है।

 

 

 

डीप वेन थ्रोम्बोसिस रोग का इलाज

 

 

डीप वेन थ्रोम्बोसिस रोगी की स्थिति ज्यादा गंभीर नहीं है तो इसको दवाई के द्वारा कम करने की कोशिश की जा सकती है। और इसके लिए पैरो में रक्त के थक्के को पिघलाने के लिए खून को पतला करने की दवाई दी जाती है। लेकिन कभी-कभी दवाइयों से काम नहीं चलता तो आपको सर्जरी की जरुरत भी पड़ सकती है। ओर तो ओर डीप वेन थ्रोम्बोसिस के कई घरेलू उपचार हैं जिनसे आप स्थिति को ठीक करने की दिशा में सही कदम उठा सकते हैं। पहले डॉक्टर से सलाह जरूर लें और डॉक्टर की सलाह के बाद ही इन डीप वेन थ्रोम्बोसिस के घरेलू उपचारों को अपनाएं ।

 

 

दवाएं

रक्त को पतला करने वाली दवाओं और थ्रोम्बोलाइटिक्स को एंटीकोआगुलंट्स भी कहा जाता है। इन दवाई से थक्के को पूरी तरह जड़ से ख़त्म तो नहीं कर सकते हैं लेकिन इन दवाइयों से नए थक्कों को बनने से रोक सकते हैं।

 

 

मोज़ा पहनना

मोज़ा पहनने से आपकी पिंडलियों के आसपास रक्त को जमने और ज़माने से रोकने के लिए बनाया जाता है। क्योकि ये दबाव बढ़ाने के लिए डिज़ाइन किए गए मोज़े हैं, इसलिए इसलिए बोला जाता है कि सुबह उठते ही, कोई भी बड़ी हरकत करने से पहले मोज़े पहन लें। मोजा पहनने से पहले लोशन लगाने से त्वचा की जलन भी कम हो जाती है।

 

 

पैरों को ऊंचा रखें

पैरों को ऊंचा रखें ताकि रक्त को थक्का बनने से रोका जा सके और रक्त को आपके फेफड़ों और हृदय तक प्रवाहित होने दिया जा सके।

 

 

व्यायाम

आलस आने से डीवीटी होने का खतरा बढ़ सकता है। रक्त को बढ़ाने के लिए हर दिन लगातार सैर करते रहना महत्वपूर्ण है। लंबे समय तक बैठने से बचें-अपने पैरों को फैलाने और ज्यादा चलने से ब्रेक लें। यह सबसे महत्वपूर्ण डीवीटी प्राकृतिक उपचारों में से एक है जिसे आप अपना सकते हैं। यह विशेष रूप से महत्वपूर्ण है यदि आप मोटापे से ग्रस्त हैं, क्योंकि मोटापा डीवीटी के विकास के लिए एक जोखिम कारक है।

 

 

धूम्रपान छोड़ने

धूम्रपान से आपके फेफड़ों में रक्त बनने की समस्या हो सकती है और रक्त के थक्के जमने का खतरा भी बढ़ जाता है। यह महत्वपूर्ण है कि आप अन्य स्वास्थ्य चिंताओं के साथ-साथ डीवीटी को रोकने के लिए धूम्रपान की आदत छोड़ दें।

 

 

 

डीप वेन थ्रोम्बोसिस के इलाज के लिए अच्छे अस्पताल।

 

 

डीप वेन थ्रोम्बोसिस के इलाज के लिए दिल्ली के अच्छे अस्पताल।

 

 

 

डीप वेन थ्रोम्बोसिस के इलाज के लिए गुरुग्राम के अच्छे अस्पताल।

 

 

 

डीप वेन थ्रोम्बोसिस के लिए ग्रेटर नोएडा के अच्छे अस्पताल।

 

  • शारदा अस्पताल ,ग्रेटर नोएडा
  • यथार्थ अस्पताल , ग्रेटर नोएडा
  • बकसन अस्पताल ग्रेटर नोएडा
  • जेआर अस्पताल ,ग्रेटर नोएडा
  • प्रकाश अस्पताल ,ग्रेटर नोएडा
  • शांति अस्पताल , ग्रेटर नोएडा
  • दिव्य अस्पताल , ग्रेटर नोएडा

 

 

यदि आप डीप वेन थ्रोम्बोसिस के मरीजों का इलाज करवाना चाहते हैं, या इससे सम्बंधित किसी भी समस्या का इलाज कराना चाहते हैं, या कोई सवाल पूछना चाहते हैं तो यहाँ क्लिक करें। इसके अलावा आप प्ले स्टोर (play store) से हमारा ऐप डाउनलोड करके डॉक्टर से डायरेक्ट कंसल्ट कर सकते हैं। आप हमसे व्हाट्सएप (+9 9599004311) पर भी संपर्क कर सकते हैं। इसके अलावा आप हमारी सेवाओं के संबंध में हमे connect@gomedii.com पर ईमेल भी कर सकते हैं। हमारी टीम जल्द से जल्द आपसे संपर्क करेगी।

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