बदलते जीवलशैली की वजह से अब तो छोटे बच्चों में भी मोटापे की समस्या बढ़ती जा रही हैं। पिछले कुछ सालों से बच्चों में मोटापे की समस्या कुछ ज्यादा ही देखने को मिल रही है। इन समस्याओं को ध्यान में रखते हुए विश्व स्वास्थ्य संगठन ने इसे गंभीरता से लेना शुरु कर दिया है। डॉक्टरों का मानना है कि बच्चों में बढ़ रही मोटापे की समस्या आगे चलकर कई बीमारियों को जन्म दे सकती है, जैसे की – डायबीटीज, कैंसर, ब्लड प्रेशर। इसलिए इसके कारणों को जानना बहुत ही जरूरी है, ताकि इससे होने वाले नुकसान से बचा जा सके, तो आइये जानते है बच्चों में मोटापे की समस्या के कारण और इससे बचने के उपाय।
बच्चों में मोटापे की समस्या के कारण
किसी में भी बढ़ते वजन की समस्या किसी एक वजह से नहीं होती है। इसके कई कारण हो सकते हैं, जैस की – यह अनुवांशिक भी हो सकता है, इसके जैविक कारण भी हो सकते हैं।
बच्चो में मोटापे की समस्या तब होती है, जब बच्चा जरूरत से ज्यादा कैलोरी लेने लगता है या फिर अगर माता-पिता, दोनों में से कोई भी मोटा है, तो 50 % संभावना भी बच्चे के मोटे होने की होती है। अगर माता-पिता दोनों ही मोटे हैं, तो बच्चों में 80 % संभावना होती है कि वह भी मोटा ही होगा।
इसके अलावा बच्चों में मोटापे की समस्या के कई अन्य चिकित्सीय कारण हो सकते हैं, जिनमे शामिल है –
- खाने की गलत आदत
- भूख से ज्यादा खाना या ओवरईटिंग
- मोटापे की पारिवारिक इतिहास
- चिकित्सकीय बीमारी (न्यूरोलॉजिकल समस्या)
- तनाव व अन्य भावनात्मक समस्या
बच्चो में मोटापे के नुकसान
मोटापे की वजह से इन समस्याओं का करना पड़ता है सामना
- बचपन में मोटापे का शिकार होने पर बच्चों का कद बढ़ना रुक जाता है।
- बच्चों के शरीर में कई अंगो का सही से विकास नहीं हो पाता है।
- चलने-फिरने में समस्या होने लगती है।
- शरीर में दर्द होना।
- मोटे बच्चों को सांस लेने में भी दिक्कत होती है। बच्चे थोड़ा सा ही काम करने पर थक जाते हैं।
बच्चों में मोटापे को रोकने के तरीके
यहाँ बच्चों में मोटापे को रोकने के कुछ तरीके शामिल हैं:
स्वस्थ और संतुलित आहारों का सेवन
यहाँ स्वस्थ भोजन को बनाए रखने के कुछ तरीके दिए गए हैं, जैसे की –
- ताजी हरी सब्जियां, फल, और साबुत अनाज वाली चीजें लें।
- लो-फैट या बिना फैट वाला दूध दें
- प्रोटीन के लिए लीन मीट, पोल्ट्री, फिश, दाल और बीन्स का सेवन करें
- भरपूर मात्रा में पानी पीएं
- मीठे चीजों से परहेज करे
कैलोरी से भरपूर चीजों का सेवन कम करे
यहाँ कम वसा वाले और कम शर्करा वाले उपचारों के उदाहरण दिए गए हैं जो 100 कैलोरी या उससे कम हैं:
- मध्यम आकार (Medium-sized apple) का सेब
- औसत आकार (Average-sized banana) का केला
- एक कप ब्लूबेरी
- अंगूर
- 1 कप गाजर, ब्रोकोली, या 2 बड़े चम्मच के साथ काली मिर्च
बच्चों का मोटापा कम करने के उपाय
- घर में बैठने की जगह बच्चों को बाहर खेलने के लिए प्रेरित करें। इससे उनकी शारीरिक गतिविधि बढ़ेगी और जिस कारण वे अतिरिक्त कैलोरी भी बर्न कर सकेंगे।
- अगर बच्चा टीवी देखने की जिद करता है, तो ध्यान रहे कि इस दौरान वह स्नैक्स से दूर रहे। साथ ही बच्चों को प्रोग्राम के ब्रेक में टीवी के सामने से उठकर चहल-कदमी करने की आदत डालें। आप चाहें तो बच्चों को बास्केट बॉल, वॉलीबॉल, बैंडमिंटन आदि खेल के लिए प्रेरित करें। इससे उनके पेट पर जमा फैट को कम किया जा सकता है।
- बच्चों का मोटापा कम करने के लिए उन्हें घर पर ही पुशअप और पुलअप करना सिखाएं। उन्हें बताएं कि इससे ना सिर्फ उनका पेट कम होगा बल्कि वो चुस्त-दुरुस्त भी रहेंगे।
- जंक-फूड, चॉकलेट, पेस्ट्री देने की जगह बच्चो को हेल्दी फूड दें। जंक-फूड में मिलने वाली ट्रांस और सैचुरेटेड फैट बच्चों के पेट की चर्बी बढ़ाने का मुख्य कारण बनता है। बच्चों को हरी सब्जियां, फल, अनाज से बनी चीजें ही दें साथ ही कोल्ड ड्रिंक की जगह फलों का जूस पीने के लिए दे। ऐसा करने से वे स्वस्थ रहेंगे।
- बच्चों को ब्राउन ब्रेड सैंडविच, लो फैट चीज, वेज रोल, स्प्राउट्स, फ्रूट सलाद आदि जैसी चीजे स्नैक्स में खाने के लिए दे।
- चीनी के बदले आप इसमें थोड़ा सा हनी मिला लें। इससे बच्चों को फाइबर, विटामिन-मिनरल मिल जाएंगे।
- बच्चो को तले हुए चीजों से दूर रखे।
अगर आप अपने बच्चे के मोटापे को लेकर परेशान है, तो ऊपर लेख में बताये गए उपायों को अपनाये लेकिन इससे पहले डॉक्टर से जरूर परामर्श करे।
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