क्रोनिक हार्ट फेलियर क्या है? जानिए इसके लक्षण, कारण और उपाए!

इंसान के शरीर में एक हार्ट ही है जो 24 घंटे लगातार काम करता रहता है ऐसे में सबसे ज्यादा क्रोनिक हार्ट फेलियर होने का खतरा ज्यादा रहता है। क्रोनिक हार्ट फेलियर (CHF) एक पुरानी बीमारी है। इसका शिकार युवा भी हो रहे है, लेकिन पहले के समय में इसका शिकार बुजुर्गो ही होते थे।

 

 

क्रोनिक हार्ट फेलियर क्या है? (chronic heart failure in hindi)

 

 

क्रोनिक हार्ट फेलियर तब होता है जब आपके हृदय की मांसपेशियों की पंपिंग शक्ति कम होने लगती है। अगर हम सीधी भाषा में कहे तो जब हमारे हृदय को अपनी जरूरत के हिसाब से रक्‍त नहीं मिलता है, तो उस स्थिति को कंजेस्टिव हार्ट फेलियर या सीएचएफ कहते हैं। इस अवस्‍था में दिल के आस-पास की नसों के जरिए खून का संचार सही प्रकार से नहीं हो पाता।

 

आपको बता दें की इंसान के पास चार हृदय कक्ष होते हैं। दिल के ऊपरी आधे हिस्से में दो अटरिया हैं, और आपके दिल के निचले आधे हिस्से में दो निलय हैं। निलय आपके शरीर के अंगों और ऊतकों में रक्त पंप करते हैं, और अटरिया आपके शरीर से रक्त प्राप्त करता है, क्योंकि यह आपके शरीर के बाकी हिस्सों में इसे वापस भेजता है।

 

 

क्रोनिक हार्ट फेलियर के लक्षण (Symptoms of chronic heart failure)

 

 

 

  • शारीरिक काम करने पर सांस लेने में दिक्‍कत होना : जब आप घर या बहार के साधारण काम कर रहे होते है और उन्हें करने में  आपकी सांस फूलने लगती है तो आपको तुरंत डॉक्टर से संपर्क करना चाहिए।

 

 

  • हमेशा थकान का एहसास होना : जब आपको बिना कोई काम किये थकान महसूस हो तो ये भी इसके लक्षण हो सकते है।

 

 

 

 

  • टखने और पैर में सूजन होना : क्रोनिक हार्ट फेलियर होने पर ऐसा भी होता है लेकिन अभी तक ऐसा बहुत कम देखा गया है।

 

 

  • लगातार खांसी आना : जब किसी व्यक्ति को अचानक तेज खांसी होने लगती है तो ये इसी बात को दर्षात है की उसे दिल का दौरा पड़ने वाला है।

 

 

  • छाती में तेज़ दर्द का एहसास होना : यह दिल के दौरे का एक मुख्य लक्षण है, जिसमें उस व्यक्ति की छाती में अचानक तेज़ दर्द होता है। लेकिन, इसे नज़रअंदाज़ करना किसी भी व्यक्ति के लिए बहुत नुकसानदायक साबित हो सकता है।

 

 

 

 

 

 

क्रोनिक हार्ट फेलियर के कारण (Causes of chronic heart failure)

 

 

उच्च रक्तचाप : जब आपका रक्तचाप सामान्य से अधिक होता है, तो यह CHF का कारण बनता है। उच्च रक्तचाप के कई अलग-अलग कारण होते हैं। जब आप तनाव लेते है तभी ऐसा होता है, जो आपके रक्तचाप को प्रभावित करता है।

 

 

 

कोरोनरी आर्टरी : कोलेस्ट्रॉल और अन्य प्रकार के वसा युक्त खाद्य पदार्थ कोरोनरी आर्टरी को बंद कर सकते हैं, जो हृदय तक रक्त को सही ढंग से नहीं पहुंचने देता। इससे आर्टरी सिकुड़ने लगती हैं। इस सिकुड़न से कोरोनरी आर्टरी आपके रक्त प्रवाह को प्रतिबंधित करती हैं और आपकी आर्टरी को नुकसान पहुंचा सकती हैं।

 

 

 

वाल्व कंडीशन : इंसान के दिल के वाल्व उसके दिल के माध्यम से रक्त को प्रवाहित करते हैं और हार्ट चैम्बर से रक्त को अंदर और बाहर जाने के लिए बंद करते हैं। जब यही वाल्व सही तरीके से नहीं खुलते और बंद होने लगते हैं, वे आपके वेंट्रिकल्स को रक्त पंप करने के लिए मेहनत करने के लिए मजबूर करते हैं। यह एक दिल के संक्रमण या बीमारी का परिणाम होते है।

 

 

 

शिशुओं और छोटे बच्चों में दिल की विफलता को पहचानना मुश्किल हो सकता है। लक्षणों में शामिल हो सकते हैं:

 

 

  • उचित पोषण न मिलना

 

  • बहुत ज़्यादा पसीना आना

 

  • सांस लेने मे तकलीफ

 

 

क्रोनिक हार्ट फेलियर से बचने के उपाए (chronic heart failure prevention)

 

 

पौष्टिक भोजन का सेवन

 

prasav (delivery) ke baad mahilayein ko rakhna chahiye in baaton ka khyal

 

हमेशा से ये माना जाता है कि हमारे भोजन का हमारे स्वास्थ्य पर सीधा प्रभाव पड़ता है। यह हार्ट अटैक पर भी लागू होता है, क्योंकि इस समस्या के होने की संभावना उन लोगों में अधिक होती है जो लोग उचित भोजन नहीं करते। यदि आप इससे बचना चाहते है तो अपने भोजन पर विशेष ध्यान दें और कोशिश करें केवल पौष्टिक भोजन ही खाए।

 

 

 

डायबिटीज का इलाज

 

 

हार्ट अटैक उन लोगों को भी हो सकता है जिन्हें डायबिटीज होती हैं। इसलिए, इस बीमारी से पीड़ित लोगों को इसका पूरी तरह से इलाज कराने की कोशिश करनी चाहिए। उन्हें किसी भी तरह की लापरवाही नहीं करनी चाहिए।

 

 

 

वजन को नियंत्रण में रखना

 

 

अधिक वजन होने से शरीर में कई बीमारियां हो सकती हैं। दिल के दौरे के पीछे मोटापा भी एक कारण है। इसलिए, सभी लोगों को अपने वजन को नियंत्रण में रखने की कोशिश करनी चाहिए, ताकि उन्हें कोई गंभीर बीमारी न हो।

 

 

 

धूम्रपान ना करें 

 

 

जैसा कि ऊपर स्पष्ट किया गया है ह्रदयघात धूम्रपान करने से भी होता है। अत: दिल के दौरे से बचाव धूम्रपान से दूरी बनाकर किया जा सकता है।

 

 

नियमित स्वास्थ्य जांच सबसे महत्वपूर्ण बात है इसका ध्यान सभी लोगों को रखना चाहिए। किसी तरह की बीमारी की संभावना और इसे रोकने के संभावित प्रयासों का पता लगाने के लिए उन्हें नियमित रूप से अपने स्वास्थ्य की जांच करवानी चाहिए। ऐसे करने के लिए आप हमारे डॉक्टर से भी संपर्क कर सकते है

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