गुर्दे की पथरी और पित्त की पथरी में अंतर क्या है?

गुर्दे में पथरी होना बहुत आम बात है लेकिन पित्त में पथरी होना के बाद ही लोगों को पता चलता है कि पित्त में भी पथरी होती है। जबकि पित्त में पथरी होना गुर्दे की पथरी से ज्यादा दुख दाई होता है। पित्त की पथरी के मरीज को उच्च कोलेस्ट्रॉल वाले खाद्य पदार्थ का सेवन नहीं करना चाहिए। पित्ताशय की पथरी ज्यादा खतरनाक इसलिए होती है क्योंकि ये पित्ताशय के बराबर तक हो सकती है।

 

अगर हम किडनी की पथरी की बात करें तो इसका कारण है आपकी गलत खान-पान की आदतें और गंदे पानी का सेवन। गुर्दे की पथरी के होने पर उस व्यक्ति को पेशाब करने में भी समस्या होने लगती है। जो इस समस्या को और भी गंभीर बनाता है।

 

 

गुर्दे की पथरी के लक्षण

 

 

  • बुखार : गुर्दे की पथरी होने पर आपको बार-बार बुखार आने लगता है और यह बुखार किसी दवा से भी ठीक नहीं होता है, ऐसे में आपको डॉक्टर से सलाह लेने की जरुरत होती है।

 

 

  • कंपकंपी : ऐसा होने पर आपको शरीर में हल्की-हल्की कंपकंपी आने लगती है और थोड़ी देर बाद ठीक हो जाती है।

 

 

  • पसीना आना : इसके कारण आपको बहुत अधिक पसीना आता है, रात में सोते वक़्त आपके पसीने से पूरा बिस्तर गीला हो जाता है।

 

 

  • पेशाब आने के साथ दर्द होना : जब आप पेशाब जाते है तो उस वक़्त आपको दर्द होता है तो ये इसके लक्षण होते है।

 

 

  • पीठ में दर्द होना : ऐसा होने पर आपको पीठ या पेट में दर्द होने लगे तो आपको तुरंत डॉक्टर से सलाह लेनी चाहिए।

 

 

  • उल्टी : इसकी वजह से आपको उलटी भी आती है और आपका कुछ भी खाने का मन नहीं करता है।

 

 

  • जी-मिचलाना : गुर्दे में पथरी होने पर आपका बार-बार जी-मिचलाने लगता है।

 

 

 

पित्त की पथरी के लक्षण

 

 

  • तेजी से वजन कम होना : आपका वजन बहुत तेजी से घटने लगता है कुछ लोग इसे नरअंदाज करते है। जबकि उन्हें तुरंत डॉक्टर से सलाह लेना चाहिए।

 

 

  • कोलेस्ट्रॉल बढ़ना : इंसान के शरीर में दो तरह के कोलेस्ट्रॉल होता है, एक गुड कोलेस्ट्रॉल और दूसरा बैड कोलेस्ट्रॉल जब आपके शरीर में बैड कोलेस्ट्रॉल बढ़ने लगता है तो ये इसके लक्षण होते है।

 

 

  • अधिक मोटापा : जो लोग बहुत ज्यादा मोटे होते है, उन्हें भी पित्त की पथरी हो सकती है। क्योंकि मोटापा आपके शरीर में अन्य बीमारियों का कारण बनता है।

 

 

  • कोई पुरानी बीमारी : यदि आपको कोई संक्रमण बार-बार होता है तो ये इस बीमारी के लक्षण भी हो सकते है।

 

 

  • गर्भवती होना : जो महिलाएं गर्भवती होती है, उन्हें पित्त की पथरी होने का खतरा ज्यादा होता है।

 

 

  • पेट फूलने की समस्या : ऐसा बहुत से लोगों के साथ होता है उसके बावजूद लोग इसे नजरअंदाज करते है।

 

 

  • हार्मोन में असंतुलन : जब आपके हार्मोन्स में असंतुलन होने लगता है तो उसकी वजह से भी ऐसा होता है।

 

 

अगर हम दोनों पथरी की बात करें तो दोनों ही स्थिति में जब आपके मूत्र में कैल्शियम, ऑक्सालेट व यूरिक एसिड जैसे पदार्थों का स्तर बढ़ जाता है तभी किडनी और पित्त की पथरी की समस्या हो सकती है। ये दोनों ही पथरी उस व्यक्ति के लिए बहुत दुखदाई होती है।

 

 

 

पथरी होने पर भूलकर भी ना करें इन चीजों का सेवन

 

 

आपको बता दें की यदि आपको पित्ताशय को स्वस्थ रखना है तो बेकरी उत्पादों जैसे ब्रेड, मफिन, कुकीज़, कपकेक आदि का सेवन नहीं करना चाहिए। क्योंकि ये पित्ताशय को प्रभावित करता है। वास्तव में, इन खाद्य पदार्थो में ज्यादा मैदा होती है जो आपके लिए बहुत नुकसानदायक होती है।

 

यदि आपको गुर्दे की पथरी है तो भूलकर भी पालक, टमाटर, बैंगन, चावल, उड़द, सूखे मेवे, चॉकलेट, चाय, शराब, कोल्ड ड्रिंक और मीठे आदि चीजों का सेवन नहीं करना चाहिए और कभी भी पेशाब नहीं रोकनी चाहिए। क्योंकि इससे आपकी किडनी में संक्रमण होने का खतरा अधिक होता है। दोनों ही पथरी होने पर आपको अधिक प्रोटीन वाली चीजों का सेवन नहीं करना चाहिए, क्योंकि ये आपके लिए और भी खतरनाक हो सकता है।

 

 

पथरी होने पर करें इन चीजों का सेवन

 

 

पित्त की पथरी होने पर करें इन चीजों का सेवन 

 

 

 

  • पपीता,

 

  • सेब,

 

  • भिंडी,

 

  • शकरकंद,

 

  • प्याज,

 

 

गुर्दे की पथरी में करें इन चीजों का सेवन 

 

 

  • खीरा,

 

 

  • खरबूजे के बीज,

 

  • चौलाई का साग,

 

  • मूली,

 

  • आंवला,

 

  • अनानास,

 

  • बथुआ,

 

  • जौ,

 

  • मूंग की दाल,

 

  • ज्यादा से ज्यादा पानी पीएं ये आपके लिए बहुत फायदेमंद होगा।

 

 

दोनों ही पथरी का इलाज कराना अब संभव है, गुर्दे की पथरी का इलाज दवाइयों से किया जा सकता है लेकिन पित्ताशय की पथरी का इलाज दवाइयों से ठीक नहीं किया जा सकता है इसलिए ये ज्यादा खतरानक होती है। आपको बता दें की ज्यादा गंभीर स्थिति में सर्जरी की ज़रूरत पड़ती है। पहले के समय में इसकी ओपन सर्जरी होती थी, जो पीड़ित व्यक्ति के लिए बहुत तकलीफदेह होती थी। लेकिन हम वर्तमान समय की बात करें तो अब लेप्रोस्कोपी के माध्यम से आसानी से सर्जरी की जा सकती है जिसके बाद मरीज़ जल्द ही दोबारा स्वस्थ हो जाता है।

 

 

इससे सम्बंधित कोई सवाल पूछना चाहते हैं तो यहाँ क्लिक करें। आप हमसे व्हाट्सएप (+91 9599004311) पर भी संपर्क कर सकते हैं। इसके अलावा आप हमारी सेवाओं के संबंध में हमें connect@gomedii.com पर ईमेल भी कर सकते हैं। हमारी टीम जल्द से जल्द आपसे संपर्क करेगी।


Disclaimer: GoMedii  एक डिजिटल हेल्थ केयर प्लेटफार्म है जो हेल्थ केयर की सभी आवश्यकताओं और सुविधाओं को आपस में जोड़ता है। GoMedii अपने पाठकों के लिए स्वास्थ्य समाचार, हेल्थ टिप्स और हेल्थ से जुडी सभी जानकारी ब्लोग्स के माध्यम से पहुंचाता है जिसको हेल्थ एक्सपर्ट्स एवँ डॉक्टर्स से वेरिफाइड किया जाता है । GoMedii ब्लॉग में पब्लिश होने वाली सभी सूचनाओं और तथ्यों को पूरी तरह से डॉक्टरों और स्वास्थ्य विशेषज्ञों द्वारा जांच और सत्यापन किया जाता है, इसी प्रकार जानकारी के स्रोत की पुष्टि भी होती है।